किसानों की ख़बर कवर करने वाले पत्रकार मनदीप पुनिया को पुलिस ने बैरिकेड से गिरफ़्तार किया
दिल्ली में दो पत्रकार पांच घंटे से ज्यादा वक्त से गायब हैं। एक पर आईपीसी की धारा 186, 332, 353 में एफआइआर की पुष्ट सूचना है। अंतरराष्ट्रीय एजेंसी कमेटी टु प्रोटेक्ट जर्नलिस्ट्स (सीपीजे) ने देर रात अलर्ट जारी किया है।
शनिवार की शाम दिल्ली के सिंघु बॉर्डर पर पुलिस द्वारा उठाए गए दो पत्रकारों में से एक मनदीप पुनिया के खिलाफ बाहरी उत्तरी दिल्ली के अलीपुर थाने में एफआइआर (संख्या 52/21) दर्ज की गयी है, हालांकि देर रात तक उनका पता नहीं चल सका है कि वे कहां हैं।
दूसरे पत्रकार धमेंद्र सिंह को छोड़े जाने की सूचना आयी थी, लेकिन फिलहाल उनका भी कुछ पता नहीं चल सका है।
गौरतलब है कि बीते दिनों पंजाब के 12 पत्रकारों को एनआईए का नोटिस भेजा गया था। यही नहीं सिंघु बॉर्डर के नेताओं पर भी मुकदमे दर्ज करने की ख़बरें आई हैं।
CPJ is concerned by reports that journalists Mandeep Punia & Dharmender Singh have been detained while reporting on the #farmersprotests in Delhi. They should be released immediately & Indian authorities should allow journalists to do their work without interference@DelhiPolice https://t.co/gxaJDG2q3G
— CPJ Asia (@CPJAsia) January 30, 2021
शनिवार शाम सात बजे के आसपास दोनों पत्रकारों को सिंघु बॉर्डर पर चल रहे किसानों के धरने के पास एक बैरिकेड से उठाया गया था। मनदीप पुनिया को उठाए जाने और पुलिस के द्वारा ज्यादती का वीडियो न्यूज़लॉन्ड्री ने जारी किया था।
इसके बाद न्यूज़लॉन्ड्री की पत्रकार निधि सुरेश ने बताया कि प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार दोनों पत्रकारों को पुलिस ने मारा पीटा और उन्हें अलीपुर थाने लेकर गयी। उसके बाद से दोनों का कोई अता-पता नहीं है।
इंडियन एक्सप्रेस ने दिल्ली पुलिस के अडीशनल डीसीपी जितेंद्र मीणा के हवाले से बताया है कि धर्मेंद्र सिंह को प्रेस कार्ड दिखाने पर छोड़ दिया गया लेकिन मनदीप पुनिया प्रेस कार्ड नहीं दिखा सके, इसलिए उन्हें पुलिस अलीपुर थाने लेकर गयी।
मनदीप के ऊपर पुलिस से बदसलूकी करने और सरकारी कामकाज में बाधा पहुंचाने की धाराएं लगाकर मुकदमा कायम कर लिया गया है।
हम 10-12 पत्रकार अलीपुर थाने पर हैं। कुछ साथी भीतर गए थे।मनदीप लॉकअप में भी नहीं है।
अभी तक यह पता नहीं लग पाया है कि मनदीप कहाँ है। पुलिस किसी भी किस्म की इंफॉर्मोशन नहीं दे रही है।
#ReleaseMandeepPunia pic.twitter.com/Jh4eTXCdWY— vinay sultan (@vinay_sultan) January 30, 2021
संयुक्त किसान मोर्चा ने मनदीप की गिरफ्तारी पर औपचारिक बयान जारी करते हुए रिहा करने की मांग की है। मोर्चा ने अपनी नियमित बुलेटिन में लिखा है:
पुलिस अमानवीय ढंग से प्रदर्शनकारियों और पत्रकारों को धरना स्थलों से गिरफ्तार कर रही है। हम सभी शांतिपूर्ण प्रदर्शनकारियों की तत्काल रिहाई की मांग करते हैं। हम उन पत्रकारों पर पुलिस के हमलों की भी निंदा करते हैं जो लगातार किसानों के विरोध को कवर कर रहे हैं।
किसान नेता योगेंद्र यादव ने मनदीप की गिरफ्तारी पर ट्वीट किया है। देर रात मनदीप की रिहाई की मांग को लेकर हैशटैग ट्विटर पर ट्रेंड कर रहा था।
https://twitter.com/NidhiSuresh_/status/1355584739499888641?
वरिष्ठ पत्रकार दिलीप मंडल ने भी मनदीप के समर्थन में आवाज़ उठायी है।
खबर लिखे जाने तक मनदीप पुनिया की पत्नी और दि कारवां के वकील थाने पहुंच चुके थे। वहां उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करायी जा रही है।
मनदीप पिछले करीब डेढ़ साल से फ्रीलांस कर रहे थे और दि कारवां के अलावा जनपथ के लिए लिखते थे। उससे पहले वे मीडियाविजिल में भी काम कर चुके थे।
https://twitter.com/i/status/1355536504936833029
वे भारतीय जनसंचार संस्थान के पासआउट हैं और पंजाब युनिवर्सिटी में स्नातक के छात्र रहे हैं।
(साभार जनपथ)
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