मज़दूर किसान महा हड़ताल के ख़िलाफ़ चौतरफा दमन, कहीं धारा 144, कहीं एस्मा, कहीं गिरफ़्तारी

मज़दूर किसान महा हड़ताल के ख़िलाफ़ चौतरफा दमन, कहीं धारा 144, कहीं एस्मा, कहीं गिरफ़्तारी

किसानों और मज़दूरों के 26-27 नवंबर को बुलाए गए महा हड़ताल के ख़िलाफ़ केंद्र और राज्य सरकारें सक्रिय हो गई हैं और गिरफ़्तारियों, धारा 144 और एस्मा लगाने जैसे हथकंडे अपनाए जा रहे हैं।

हरियाणा सरकार किसान नेताओं को चुन चुन कर गिरफ़्तार करने में जुटी हुई है। दूसरी तरफ़ उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने हड़ताल पर प्रतिबन्ध लगाते हुए एस्मा लगा दिया है। जबकि ओडिशा सरकार ने हड़ताल तो अपराध घोषित कर दिया है और कई राज्यों में धारा-144 लगा दिया गया है।

हड़ताल के ठीक एक दिन पहले यूपी की योगी सरकार ने अगले छह महीने तक प्रदेश में किसी भी सरकारी विभाग, सरकार के नियंत्रण वाले निगम और प्राधिकरणों आदि में हड़ताल करने पर रोक लगा दी है। प्रदेश सरकार ने अत्यावश्यक सेवाओं के अनुरक्षण, 1996 की धारा 3 की उपधारा (1) के द्वारा दी गई शक्ति का प्रयोग करते हुए प्रदेश में एस्मा लागू कर दिया है।

जिसके बाद सरकारी विभाग, सरकार के नियंत्रण वाले निगम और प्राधिकरणों आदि में हड़ताल करने पर रोक लगा दी गई है। इस संबंध में अपर मुख्य सचिव कार्मिक मुकुल सिंघल ने अधिसूचना जारी कर दी है।

इससे पूर्व सोमवार को जारी किए गए एक आदेश में सरकार ने सामूहिक गतिविधियों में शिरकत की भी सीमा बांध दी है।

इससे पहले कोरोना महामारी के बहाने योगी सरकार ने मई के अंत में छह महीने के लिए एस्मा लगाया था। इस छह महीने की अवधि मार्च में पूरी हो रही थी इसलिए सरकार ने अब इस ऐक्ट को छह महीने आगे के लिए और लागू कर दिया है।

ओडिशा में एस्मा संशोधन प्रस्ताव पारित

23 नवंबर सोमवार को विपक्ष के कड़े विरोध के बीच, ओडिशा सरकार ने आवश्यक सेवा (रख-रखाव) अधिनियम (एस्मा ) संशोधन विधेयक विधानसभा में पारित कर दिया, जिसमें हड़ताल करने वाले सरकारी कर्मचारियों के लिए कारावास की सजा का प्रावधान किया गया है।

किसानों के तेवर को देखते हुए भाजपा शासित हरियाणा ने प्रदर्शनकारियों के जुटने को रोकने के लिए सीआरपीसी की धारा 144 लगा दी है। राजस्थान की कांग्रेसी सरकार ने भी धारा-144 लगा दिया है। महाराष्ट्र में भी धारा 144 लगा दी गई है।

गिरफ़्तारी, वॉटर कैनन

पंजाब के सैकड़ों किसान बुधवार सुबह से ही हरियाणा के साथ लगती अंतर्राज्यीय सीमाओं पर जुटने लगे। तीन केंद्रीय कृषि कानूनों के खिलाफ उनके ‘दिल्ली चलो’ आंदोलन के मद्देनजर हरियाणा ने राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली की ओर उनके कूच को प्रतिबंधित कर दिया था।

हरियाणा पुलिस ने राज्य के लगभग 100 किसान नेताओं को हिरासत में ले लिया। राजस्थान की कांग्रेसी सरकार ने भी धारा-144 लगा दिया है। लेकिन किसानों के जत्थे पूरे देश से आगे बढ़ रही हैं।

अभी मिली जानकारी के अनुसार हरियाणा के अम्बाला में पुलिस ने किसानों पर इस ठण्ड में पानी की बौछारें छोड़ीं, लाठियां चलायीं लेकिन किसान इन सबके बावजूद बैरिकेट तोड़कर आगे बढ़ गए हैं।

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Workers Unity Team

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