मोनू मानेसर गिरफ़्तार, नासिर जुनैद मामले में राजस्थान पुलिस को रिमांड पर सौंपा गया
बिट्टू बजरंगी के बाद मोहित यादव उर्फ मोनू मानेसर को मंगलवार को हरियाणा की नूंह पुलिस ने गिरफ़्तार कर लिया। हालांकि हरियाणा पुलिस ने उस पर सोशल मीडिया पर भड़काऊ पोस्ट लिखने की कई धाराएं लगाई हैं।
लेकिन हरियाणा पुलिस ने मोहित यादव को राजस्थान पुलिस को सौंप दिया, जो फरवरी में दो मुस्लिम युवकों नासिर और जुनैद की लिंचिंग और जलाकर मार डालने के संगीन जुर्म में कई महीने से उसकी तलाश कर रही थी।
इंडियन एक्सप्रेस की खबर है कि मोहित यादव को मानेसर के सेक्टर 1 से साइबर क्राइम नूंह पुलिस स्टेशन और क्राइम ब्रांच ने एक संयुक्त कार्रवाई में पकड़ा।
नूंह पुलिस ने एक बयान में कहा है कि दीग पुलिस ने कोर्ट से मोहित यादव को आपराधिक रिमांड पर लिया है। राजस्थान पुलिस ने कहा है कि उसे नूंह से भरतपुर ले जाया जा रहा है।
मोनू मनेसर को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा गया, हम अदालत से इसे कड़ी सज़ा की माँग करते है।#MonuManesar pic.twitter.com/TBUD6KTphn
— Dr.Meraj Hussain (@drmerajhusain) September 12, 2023
उल्लेखनीय है कि 31 जुलाई को विश्व हिंदू परिषद ने नूंह में जलाभिषेक यात्रा निकालने का एलान किया था। इस यात्रा से पहले मोनू ने सोशल मीडिया पर भड़काऊ पोस्ट डाले थे।
कहा गया था कि मोनू मानेसर के इस यात्रा में शामिल होने की बात से नूंह के स्थानीय लोगों में गुस्सा था और हिंसा भड़कने की एक वजह ये भी था।
मोनू मानेसर पर जिन नासिर और जुनैद की हत्या का आरोप है, वो दोनों मेवात के रहने वाले थे।
जुनैद और नासिर के शव 16 फरवरी 2023 को मिले थे। मोनू मानेसर खुद को बजरंग दल का गौरक्षक प्रांत प्रमुख बताता है और कई पुलिस अधिकारियों के साथ साथ उसकी तस्वीरें सामने आ चुकी हैं।
गौरतलब है कि नूंह हिंसा के मामले में बिट्टू बजरंगी को 15 अगस्त की शाम फरीदाबाद से गिरफ्तार किया गया था।
बिट्टू बजरंगी ने नूंह में ब्रजमंडल यात्रा के दौरान सोशल मीडिया पर कई भड़काऊ पोस्ट किये थे, जिसके बाद हिंसा भड़क गई जिसमें लगभग 6 लोग मारे गए थे।
बिट्टू बजरंगी को अगस्त में ही जमानत मिल गई और उसे 30 अगस्त की देर शाम रिहा कर दिया गया।
- मोनू मानेसर कौन है, दरिंदा या गौरक्षक?
- बिट्टू बजरंगी को नूंह की लोकल कोर्ट ने दी जमानत, रिहा होने के बाद फूल मालाओं से स्वागत
नूंह हिंसा
पुलिस के मुताबिक, ब्रजमंडल यात्रा से पहले बिट्टू ने कई भड़काऊ वीडियो सोशल मीडिया पर डाले थे. इस मामले में डबुआ थाने में केस दर्ज हुआ था. हालांकि उसे जमानत पर छोड़ दिया गया था।
तीन जुलाई को धौज इलाके में धार्मिक उन्माद फैलाने के आरोप में पुलिस ने सात नामजद सहित करीब 40 लोगों के खिलाफ विभिन्न धाराओं में केस दर्ज किया था।
इसके बाद बिटटू ने फेसबुक पर लाइव आकर दूसरे समुदाय के लिए भड़काऊ बातें कही थीं। इसके बाद सारन थाना पुलिस ने एक और केस दर्ज किया था। इससे पहले मुजेसर थाना पुलिस ने भी इन्हीं धाराओं में केस दर्ज किया था।
बिट्टू बजरंगी सब्जी बेचता था
बिट्टू 30 साल पहले ओखला, दिल्ली में रहकर सब्जी बेचता था।
फरीदाबाद आने के बाद भी कुछ सालों तक उसने सब्जी बेची व ऑटो चलाया।
इस दौरान धार्मिक व राजनीतिक कार्यक्रमों में भी जाता रहा।
स्थानीय लोगों के अनुसार बिट्टू हिंदू नेता के रूप में खुद को शहर में स्थापित करना चाहता था।
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