हरियाणा: कोरोना से जंग को निकलीं आशा वर्कर्स को पुलिस ने पीटा

हरियाणा: कोरोना से जंग को निकलीं आशा वर्कर्स को पुलिस ने पीटा

अजीबोगरीब हालात हैं देश के। देशभर को लॉकडाउन कर मजदूरों और कामगारों को बेआबरू किया जा रहा है। ताजा घटना भाजपा शासित राज्य हरियाणा में हुई, वो भी आशा वर्कर्स के साथ, जो कोरोना से जंग में अपना फर्ज अदा करने को घरों से सरकारी निर्देशों पर निकलीं। जिन आशा वर्कर्स को स्वास्थ्य विभाग जमीनी कड़ी मानता है, उनको सड़कों पर पुलिस ने पीटकर भगा दिया।

हरियाणा पुलिस के अभद्र बर्ताव से आशाओं में खासा गुस्सा है। हरियाणा सीटू की राज्य अध्यक्ष सुरेखा ने सरकार और प्रशासन के रवैये पर कड़ी नाराजगी जाहिर की है। उन्होंने कहा कि कोविड 19 की विश्व महामारी के वक्त आशा वर्कर्स अपने एरिया में बाहर से आए हुए लोगों की लिस्ट बनाती हैं , उनके स्वास्थ्य संबंधी जानकारी रखती हैं, टेंपरेचर वगैरा चेक करती हैं, कोरेंटीन रहने के लिए मोहर लगाती हैं और बीमारी के लक्षण मिलने पर प्रशासन को सूचित करती है।

आशाओं को इस समय पर भी एचबीपीएनसी विजिट करने और रेगुलर पेशेंट्स के फॉलोअप के लिए भी कहा जा रहा है। जब पूरा देश लोक डाउन है तब भी आशा फील्ड में काम कर रही हैं।

घटना के बारे में बताया जा रहा है कि गोहाना अर्बन की आशा वर्कर अपनी ड्यूटी करते हुए गोहाना सीएचसी से अपना सामान लेने जैसे मास्क, ग्लव्स, सैनिटाइजर इत्यादि सीएचसी गोहाना जा रही थी। आशा अपनी ड्रेस में थी उसके बावजूद पुलिस ने उनको रोका। उनके यह बताने के बावजूद भी कि वह आशा वर्कर हैं और सीएचसी गोहाना में अपना सामान लेने जा रही हैं। मौके पर उपस्थित पुलिस अधिकारियों ने आशाओं को प्रताडि़त किया, उनकी पिटाई की और उनको जीप में डालने की धमकी दी।

सीटू नेत्री सुरेखा ने कहा कि पुलिस का यह व्यवहार किसी भी तरीके से बर्दाश्त करने योग्य नहीं है।आशा वर्कर्स यूनियन हरियाणा एवं सीआईटीयू पुलिस ने इस व्यवहार पर कड़ी आपत्ति दर्ज की है। आशाओं को प्रताडि़त करने और सरकारी काम में बाधा डालने के दोषी पुलिस अधिकारियों पर सख्त से सख्त कार्रवाई करने की मांग करते हुए, सीएमओ सोनीपत, एसपी, डीएसपी सोनीपत, मिशन निदेशक राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन हरियाणा एवं स्वास्थ्य मंत्री और गृह मंत्री हरियाणा, अनिल विज को शिकायत दर्ज करवाई है।

आशा वर्कर्स यूनियन हरियाणा दोषी पुलिसकर्मियों पर तुरंत एवं सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग की है। यदि स्वास्थ्य विभाग, गृहमंत्री और सोनीपत प्रशासन दोषी पुलिस वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई नहीं करते हैं तो हरियाणा भर की आशाएं अपने काम के बहिष्कार के लिए मजबूर होंगी।

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ashish saxena